5G क्या है? 5 तकनीक, फायदे और चुनौतियां
Author : Tushar K. Kapoor
5G के बारे में पिछले करीब 3 सालों से चर्चा हो रही है और अब कई देशों में इसका इस्तेमाल शुरू हो चुका है.
हम साल
2021 में पहुंच चुके हैं और यह 5G का दौर है! 5G के बारे में पिछले करीब 3 सालों से चर्चा हो रही है और अब चीन, अमेरिका, जापान और यहां कि दक्षिण कोरिया जैसे देशों में इसका इस्तेमाल start हो चुका है. 5G की चर्चा होते ही हम स्वचालित गाड़ियों, ऑग्मेंटेड रियलिटी और Internet of things जैसी चीजों पर बात करने लगते हैं.
5G पर चर्चा के बीच 90% लोग यह जानने के लिए जरूर उत्सुक होंगे कि 5G Technology आखिर है क्या और यह मौजूदा Technology के बीच किस तरह जगह बनाएगा. तो चलिए
इसे आपको समझाने की कोशिश करते हैं.
5G क्या है? What is 5G?
5G
मोबाइल Network का 5th
Generation है. 5G को
इस तरह से सोचिए कि 4G Network की speed का 100 गुना. 4G की
तरह ही, 5G भी
उसी मोबाइल Network Principles पर आधारित है.
5th Generation की वायरलेस तकनीक अल्ट्रा लो लेटेन्सी (आपके
फोन और टावर के बीच सिग्नल की स्पीड) और
Multi-GBPS Data Speed पहुंचाने में सक्षम है.
यह एक Software आधारित Network है, जिसे Wireless Network की Speed और working capacity
को बढ़ाने के लिए develop किया गया है. यह तकनीक Data quantity को भी बढ़ाती है, जो
Wireless network को
transmit किया जा सकता है.
5G Technology का आधार 5th generation
1. मिलीमीटर वेव
2. छोटे सेल्स
3. मैक्सिमम MIMO
4. बीमफॉर्मिंग
5. फुल डुप्लेक्स
5G Technology के 5th आधार
5G
generation "सब-6 बैंड"
में work करने में सक्षम है, जिसकी
frequency आम तौर पर 3Ghz-6Ghz के बीच होती है. अधिकतर मौजूदा Divice जैसे मोबाइल, टैबलेट और लैपटॉप भी इसी frequency में काम करते हैं.
इस system में काफी ज्यादा ट्रैफिक होने के कारण अब research 6Ghz से
ऊपर
experiment
करने
की
सोच
रहे
हैं.
वे
24Ghz-300Ghz स्पेक्ट्रम पर काम करने की तैयारी में हैं जिसे high-band माना जाता है. export इसे millimetre-wave (mmWave) भी
कहते
हैं.
5G
Millimeter-wave
millimetre-wave 5G बहुत सारा Data aquire करता है, जो
1 GB प्रति सेकेंड की Speed से Data transfar को संभव बनाता है. ऐसी तकनीक फिलहाल अमेरिका में verizon और AT&T जैसे Telecom operator इस्तेमाल कर रहे हैं.
Speed
sales
5G Technology का दूसरा आधार speed sales है. Milimeterwave में range के साथ दिक्कत है जिसकी भरपाई Speed Sales करता है. चुंकि mm wave
रुकावटों में काम नहीं कर सकता है, इसलिए मेन सेल टावर से सिग्नल रिले करने के लिए पूरे area में बड़ी संख्या में मिनी सेल टावर्स लगाए जाते हैं. इन छोटे सेल को traditional टावर की तुलना में कम दूरी पर रखा जाता है ताकि users को बिना किसी रुकावट के 5G सिग्नल मिल सके.
Maximum
MIMO
5G Technology का अगला आधार है Maximum MIMO, यानी
multiple-input और Multiple output Technology. इस
तकनीक का use कर ट्रैफिक को manage करने के लिए बड़े सेल टावर्स का इस्तेमाल किया जाता है. एक
regular sales टावर जिससे 4G Network मिलता है, वो
12 antina के साथ आता है जो उस क्षेत्र में Cellulor traffic को handle करता है
.
MIMO
100 एंटीना को एक साथ support कर सकता है जो अधिक traffic रहने पर टावर की ability को बढ़ाता है. इस
तकनीक के सहारे आसानी से 5G signal पहुंचाने में मदद मिलती है.
बीमफॉर्मिंग Beamforming
Beamforming एक ऐसी तकनीक है जो लगातार frequency की कई सारे को मॉनिटर कर सकती है और एक सिग्नल के block रहने पर दूसरे मजबूत और High Speed वाले टावर पर switch करती है. यह make sure करती है कि खास Data only एक खास दिशा में ही जाए.
फुल डुप्लेक्स full duplex
Full duplex एक ऐसी तकनीक है, जो एक समान frequency band में एक साथ Data को Transmit और receive करने में मदद करता है. Landline Telephone और Short Wave Radio में इस तरह की तकनीक का इस्तेमाल होता है. यह टू-वे स्ट्रीट की तरह है, जो
दोनों तरफ से समान data भेजता है.
5G Technology के फायदे
सोचिए कि आपने एक फुल HD फिल्म 3 सेकंड
के अंदर Download कर लिया. इतना ही तेज होने वाला है 5G Network qualcomm के अनुसार, 5G traffic
capacity और Network efficiency में 20 GB
प्रति सेकेंड की Speed देने में सक्षम है.
इसके अलावा mm वेव के साथ, आप
1ms की latency पा सकते हैं जो तुरंत Connection Establish करने और Network Traffic को कम करने में मदद करता है.
Qualcomm के Chairman
Cristiano Amon का भी मानना है कि 5G Network speed देगा, जो Real Time में Augmented Realty का
अनुभव करा सकता है. इससे
Augmented Realty पर काम करने वाले Hardware के विकास में भी मदद मिलेगी.
यह तकनीक virtual Realty, Automatic Driving और Internet of things के लिए आधार बनने जा रहा है. यह सिर्फ आपके Smartphone use करने के अनुभव को बेहतर नहीं करने वाला है, बल्कि मेडिकल, इंफ्रास्ट्रक्चर और यहां तक कि मैन्युफैक्चरिंग के विकास में भी मदद करने वाला है.
5G की चुनौतियां
5G
Technology को लाना काफी महंगा होने वाला है. Network Operators को मौजूदा system हटाना पड़ेगा क्योंकि इसके लिए 3.5Ghz से अधिक Qualcomm की जरूरत होती है जो 3G या 4G में
इस्तेमाल होने वाले से बड़ा बैंडविड्थ है.
सब-6 Ghz स्पेक्ट्रम की bandwidth भी लिमिटेड है, इसलिए इसकी speed मिलीमीटर-वेव की तुलना में कम हो सकती है.
इसके अलावा, MM-वेव कम दूरियों में ज्यादा प्रभावी होता है और यह रुकावटों में काम नहीं कर सकता है. यह पेड़ों के द्वारा और बारिश के दौरान Absorb भी हो सकता है, इसका
मतलब है कि 5G को ठोस तरीके से लागू करने के लिए आपको काफी ज्यादा Hardware लगाने की जरूरत होगी.
5G
का विस्तार तो रहा है But लोगों के उम्मीदों के मुताबिक नहीं. GSMA इंटेलीजेंस रिपोर्ट के अनुसार, मौजूदा रेट के तहत भी 2025 तक
3G और 4G को 5G ओवरटेक नहीं कर पाएगा.
हालांकि, Qualcomm के अध्यक्ष क्रिस्टियानो आमोन का मानना है कि
2022 तक 5G स्मार्टफोन की संख्या 80 करोड़ होगी और 2023 तक 5G कनेक्शन 1 अरब होने चाहिए. 4G को इस आंकड़े तक पहुंचने में इससे 2 साल ज्यादा लगे हैं.
इसके अलावा 5G Technology
के साथ सिक्योरिटी और प्राइवेसी का भी मुद्दा है, जो अधिक इस्तेमाल होने के बाद ही पता चल पाएगा.
क्या 5G, 4G के साथ काम कर सकता है?
6Ghz से अधिक स्पेक्ट्रम की Frequency में 5G बेहतर काम करता है. 2G, 3G और 4G जैसी पुरानी तकनीक भी वायरलेस बैंड्स पर operat होती है जो 3.5Ghz से 6Ghz के बीच होता है.
Android Central की एक रिपोर्ट के अनुसार- 5G, 4G के साथ काम कर सकता है लेकिन 3Ghz-6Ghz स्पेक्ट्रम अधिक use होने के कारण research 6Ghz से आगे 30Ghz-300Ghz के बीच शॉर्टर mm वेव पर experiment कर रहे हैं.
इस तरह के स्पेक्ट्रम का इस्तेमाल पहले Technology के लिए होता था लेकिन कभी मोबाइल Divice के लिए नहीं किया गया. इस स्पेक्ट्रम में जाने का मतलब है मोबाइल डिवाइस के लिए अधिक bandwidth मिलना.
कुछ तकनीक जैसे 5G NR (न्यू रेडियो) और यहां तक कि 5G (AT&T
Proprietary LTE Advanced Network) 4G Network पर काम करते हैं, लेकिन ये mm वेव की तरह Fast नहीं हैं, जिसका मतलब है कि 1 जीबी प्रति सेकंड से अधिक की Speed के लिए नए Hardware लगाने होंगे.
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